9 जुलाई 2021 निरंकारी गीत मेहरां सच्ची सरकार दीयां लिरिक्स हिन्दी में अब जस्ट लिरिक्स पर उपलब्ध हैं। इस निरंकारी गीत के लिरिक्स ज्ञान सिंह मेहरम जी ने लिखे हैं जतिन वासवानी जी ने अपने सुरों से सजाया है।
निरंकारी गीत की जानकारी
क्र.सं. | विषय | जानकारी |
---|---|---|
1 | गीत का नाम | मेहरां सच्ची सरकार दीयां |
2 | गायक | जतिन वासवानी जी |
3 | लेखक | ज्ञान सिंह मेहरम जी |
4 | प्रकाशक | Jatin Vaswani Music |
5 | प्रकाशन तिथि | 9 जुलाई 2021 |
निरंकारी गीत मेहरां सच्ची सरकार दीयां लिरिक्स की विडियो
निरंकारी गीत मेहरां सच्ची सरकार दीयां लिरिक्स हिन्दी में
मेहराँ हो रहियां मेहराँ हो रहियां
हो रहियां मेहराँ सच्ची सरकार दियां
हो रहियां मेहराँ सच्ची सरकार दियां
सिफ़तां कराँ व्यान किवें दातार दियां
सिफ़तां कराँ व्यान किवें दातार दियां
हो रहियां मेहराँ सच्ची मेहरां दियां
हो रहियां मेहराँ सच्ची मेहरां दियां
सिफ़तां कराँ व्यान किवें दातार दियां
सिफ़तां कराँ व्यान किवें दातार दियां
अनजाना जद कोई मुसाफिर दर एहदे ते आवे
अनजाना जद कोई मुसाफिर दर एहदे ते आवे
उस दे दिल विच आप विराजे हौले जेहा समझावे
उस दे दिल विच आप विराजे हौले जेहा समझावे
एह खेडाँ ने एह खेडाँ ने ……..
ए खेडाँ ने संतों गूहड़े प्यार दियां
एह खेडाँ ने संतों गूहड़े प्यार दियां
सिफ़तां कराँ व्यान किवें दातार दियां
सिफ़तां कराँ व्यान किवें दातार दियां
हो रहियां मेहराँ सच्ची मेहरां दियां
सिफ़तां कराँ व्यान किवें दातार दियां
सिफ़तां कराँ व्यान किवें दातार दियां
अब्बल अल्लाह नूर ऊपाया कुदरत दे सब बन्दे
अब्बल अल्लाह नूर ऊपाया कुदरत दे सब बन्दे
इक नूर ते सब जग उपजेया कोण भले कोण मंदे
इक नूर ते सब जग उपजेया कोण भले कोण मंदे
लोको इसदियां लोको इसदियां….….
लोको इसदियां नजरां जन्म सवार दियां
लोको इसदियां नजरां जन्म सवार दियां
सिफ़तां कराँ व्यान किवें दातार दियां
सिफ़तां कराँ व्यान किवें दातार दियां
हो रहियां मेहराँ सच्ची मेहरां दियां
सिफ़तां कराँ व्यान किवें दातार दियां
सिफ़तां कराँ व्यान किवें दातार दियां
धरती ते आकाश विचाले तकया नवां नजारा
धरती ते आकाश विचाले तकया नवां नजारा
नज़र मिली ते नज़र हो गया दिल दा तख्त हज़ारा
नज़र मिली ते नज़र हो गया दिल दा तख्त हज़ारा
रिद्धियां सिद्धियां रिद्धियां सिद्धियां …
रिदियां सिद्धियां एस तों आपा वार दियां
रिद्धियां सिद्धियां एस तों आपा वार दियां
सिफ़तां कराँ व्यान किवें दातार दियां
सिफ़तां कराँ व्यान किवें दातार दियां
हो रहियां मेहरां सच्ची मेहरां दियां
सिफ़तां कराँ व्यान किवें दातार दियां
सिफ़तां कराँ व्यान किवें दातार दियां
एह सज्जण है ऐसा महरम पाके प्रीत ना तोड़े
एह सज्जण है ऐसा महरम पाके प्रीत ना तोड़े
दुनिया तां दिल तोड़े ही तोड़े एह जोड़े ही जोड़े
दुनिया तां दिल तोड़े ही तोड़े एह जोड़े ही जोड़े
स्वर्गां तों भी स्वर्गां तों भी ….
स्वर्गा तों भी उच्चियां गलियां यार दियां
स्वर्गां तों भी उच्चियां गलियां यार दियां
सिफ़तां कराँ व्यान किवें दातार दियां
सिफ़तां कराँ व्यान किवें दातार दिया
हो रहियां मेहरां सच्ची मेहरां दियां
सिफ़तां कराँ व्यान किवें दातार दियां
सिफ़तां कराँ व्यान किवें दातार दियां–3